1947 के बाद भारत का असली ‘खेला’
भारत की कहानी केवल चुनाव, सरकारें और दलों की नहीं—यह एक सभ्यतागत संघर्ष है:
✔ मज़बूत, आत्मनिर्भर भारत
vs.
✖ कमजोर, विभाजित, विदेशी प्रभाव वाला भारत
🔶 SECTION 1: 1947–1950 — राजनीतिक आज़ादी, पर सभ्यता कैद
भारत स्वतंत्र हुआ, पर सत्ता रही:
- पश्चिमी मानसिकता वाले शासकों के हाथ में
- वंशवादी नेतृत्व
- अंग्रेज़ों द्वारा प्रशिक्षित नौकरशाही के नियंत्रण में
- स्वदेशी सोच को तुच्छ, विदेशी को श्रेष्ठ मानने वाली मानसिकता
👉 राजनीतिक स्वतंत्रता मिली, पर सभ्यता नहीं मुक्त हुई।
🔶 SECTION 2: 1950–1962 — रणनीतिक भूलें जिनकी कीमत आज भी चुकाते हैं
📌 कश्मीर
- युद्ध में भारतीय सेना जीत रही थी
- लेकिन अचानक युद्धविराम घोषित
- मामला UN ले जाया गया
- अनुच्छेद 370 से स्थायी विभाजन
परिणाम:
- PoJK खोया
- 70 वर्षों का आतंकवाद
- कश्मीरी हिंदुओं का नरसंहार
📌 तिब्बत
- चीन को कब्ज़ा करने दिया
- प्राकृतिक सुरक्षा-दीवार खोई
- अक्साई चिन पर चीन का कब्ज़ा
📌 सेना की उपेक्षा
- रक्षा बजट घटाया
- सीमा तक सड़कों का निर्माण रोक दिया गया
👉 1962 सिर्फ हार नहीं, इच्छित दुर्बलता थी।
🔶 SECTION 3: 1964–1984 — अंदरूनी कमज़ोरी और तुष्टीकरण की राजनीति
1️⃣ आपातकाल
- प्रेस, विपक्ष, न्यायपालिका का दमन
- लोकतंत्र पर प्रहार
2️⃣ विदेशी हस्तक्षेप
- ISI द्वारा खालिस्तान आतंक
- नक्सलवाद को चीन समर्थन
- CIA का प्रभाव
3️⃣ तुष्टिकरण की नीति
- शाह बानो में न्यायालय निर्णय पलटा
- हिंदू धार्मिक संस्थाओं का सरकारी नियंत्रण
- जनसांख्यिक संतुलन की अनदेखी
👉 भारत भीतर से खोखला करने की प्रक्रिया शुरू।
🔶 SECTION 4: 1984–2004 — आतंक, घोटाले और वोट बैंक
भ्रष्टाचार की पराकाष्ठा
- बोफोर्स
- हवाला
- तेलगी
- रक्षा सौदे
आतंकवाद का उभार
- कश्मीरी हिंदुओं का पलायन
- पाक समर्थित धमाके
वोट बैंक इंजीनियरिंग
- घुसपैठ को संरक्षण
- सीमाई क्षेत्रों की अस्थिरता
👉 यह काल था:
“राजनीति + अपराध + विदेशी फंडिंग = एंटी–इंडिया नेटवर्क”
🔶 SECTION 5: 2004–2014 — भारत को कमज़ोर बनाने का दशक
सुरक्षा विफलता
- 26/11 आतंकवादी हमले
- खुफिया ढाँचों की कमजोरी
- असली आतंक छिपाने को ‘हिंदू आतंक’ नैरेटिव
महाघोटाले
- 2G
- CWG
- कोयला
- आदर्श
विदेशी प्रोपेगेंडा
- NGO-डॉलर नेटवर्क
- BBC, NYT, वॉशिंगटन नैरेटिव
- विदेशी प्रभाव से नीतियाँ
👉 लक्ष्य: भारत को उभरने से रोकना।
🔶 SECTION 6: 2014–2025 — मोदी युग: सभ्यतागत पुनर्जागरण
1️⃣ रणनीतिक क्रांति
- अनुच्छेद 370 हटाना
- सर्जिकल और बालाकोट स्ट्राइक
- गलवान में कडा जवाब जवाब
- सीमा इन्फ्रास्ट्रक्टर रिकॉर्ड
2️⃣ आर्थिक सुधार
- UPI, DBT
- घोटाले समाप्त
- बैंक सुधार
- भारत चौथी अर्थव्यवस्था
3️⃣ सुरक्षा मजबूती
- UAPA, NIA, ED की शक्ति
- अवैध घुसपैठ रोकना
- आतंकी नेटवर्क ध्वस्त
4️⃣ सांस्कृतिक पुनरुत्थान
- राम मंदिर
- काशी, केदारनाथ, मथुरा पुनरुद्धार
👉 रक्षात्मक भारत → आत्मविश्वासी भारत।
🔶 SECTION 7: सबसे बड़ा खतरा आज अंदर है (0.5 फ्रंट)
1️⃣ विपक्ष + विदेशी लॉबी
- एंटी-इंडिया नैरेटिव
- बिकाऊ सूचना तंत्र
2️⃣ छद्म सेक्युलर–लेफ्ट तंत्र
- सनातन पर प्रहार
- घुसपैठ का बचाव
3️⃣ जिहादी नेटवर्क
- धर्मांतरण
- आतंक नेटवर्क
- लव जिहाद, जमीन जिहाद, जनसंख्या जिहाद इत्यादि
4️⃣ डिजिटल युद्ध
- टूलकिट्स
- फेक न्यूज़
👉 बाहरी नहीं, भीतरी मोर्चा अधिक खतरनाक।
🔶 SECTION 8: भारत का जागरण
आज देखा जा रहा है:
- राष्ट्रवादी युवा
- हिंदू एकता
- प्रोपेगेंडा का पर्दाफाश
- वैश्विक शक्ति के रूप में भारत
🔶 SECTION 9: यह सिर्फ राजनीति नहीं, 5000 वर्षों की सभ्यतागत लड़ाई
- 1947: राजनीतिक स्वतंत्रता
- 2014: सभ्यतागत स्वतंत्रता
- आने वाला दशक: विश्व नेतृत्व
- 1000 वर्षों में पहली बार
👉 भारत रक्षा में नहीं, दावे में खड़ा है।
🇮🇳जय भारत, वन्देमातरम 🇮
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