ताहिर हुसैन: एक संगठित हत्यारा, जो आज़ाद घूम रहा है
ताहिर हुसैन, आम आदमी पार्टी का निगम पार्षद, दिल्ली दंगों के दौरान हिंदुओं की हत्या का मास्टरमाइंड था। चार्जशीट में स्वयं इसने स्वीकार किया कि उसने दंगों की पूर्व नियोजित साजिश रची ताकि ज्यादा से ज्यादा हिंदू मारे जाएं और उनका आर्थिक नुकसान हो।
पूर्व–योजनाबद्ध नरसंहार:
- मुसलमानों की दुकानें और मकान सुरक्षित रहें, इसके लिए पहले से “नो NRC” का पेंटिंग किया गया ताकि केवल हिंदुओं की संपत्तियों को निशाना बनाया जाए।
- हजारों हेलमेट खरीदे गए, ताकि दंगाइयों की पहचान छुपी रहे।
- विशाल गुलेल दीवारों में फिट की गई, ताकि जलते हुए पेट्रोल बम दूर तक हिंदू घरों पर फेंके जा सकें।
- ठेलों पर भी फायर गुलेल लगाई गई, ताकि हिंदुओं की दुकानों और घरों को जलाया जा सके।
निर्दोष हिंदू पीड़ितों का दर्द
👉 दिलबर नेगी, जिसके हाथ–पैर काटकर जला दिया गया, क्या वो घर जा पाया?
👉 IB ऑफिसर अंकित शर्मा, जिसे चार घंटे तक 200 लोगों ने चाकुओं से गोदा, क्या वो घर जा पाया?
👉 कांस्टेबल रतन लाल, जिसे बुर्काधारियों की भीड़ ने घसीटा और बेरहमी से मार डाला, क्या वो घर जा पाया?
👉 वो 53 निर्दोष हिंदू, जो ताहिर हुसैन की योजना का शिकार बने, क्या वे घर लौट पाए?
इस्लाम परस्त न्यायपालिका का हिंदुओं के साथ विश्वासघात
आज, ताहिर हुसैन आज़ाद है! न सिर्फ़ आज़ाद है, बल्कि चुनाव प्रचार कर रहा है और उसके स्वागत में हजारों मुसलमानों की भीड़ खड़ी है।
🔴 यही है भारत की न्यायपालिका की सच्चाई—एक निर्दोष हिंदू अगर अपने धर्म की रक्षा के लिए आवाज़ उठाए, तो वो तुरंत जेल में डाल दिया जाता है। लेकिन देशद्रोहियों, हत्यारों और हिंदू–विरोधी दंगाइयों को खुली छूट मिलती है।
हिंदुओं, अब भी आँखें नहीं खोलोगे?
🚩 गंगा–जमुनी तहजीब सिर्फ़ एक छलावा है, सिर्फ़ एक धोखा है! 🚩
🚩 यदि हम आज नहीं जागे, तो कल हमें अपने ही देश में कोई स्थान नहीं मिलेगा!
🚩अब समय आ गया है कि हिंदू एकजुट हों और अपनी सुरक्षा और अधिकारों के लिए संगठित हों!
🚩 जय सनातन! जय हिंदू एकता! जय भारत! 🚩