भारत अब चुप नहीं रहेगा एक सशक्त बयान है मोदी सरकार की उस नीति का, जिसमें आतंकवाद और जिहाद के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक जैसे ठोस कदम शामिल हैं।
🇮🇳 मोदी युग में राष्ट्रवाद की परिभाषा बदली है – अब जवाब “कड़ी निंदा” नहीं, बल्कि “सीधा एक्शन” है।
- आज का भारत वह भारत नहीं है जो 2004 से 2014 के बीच हर आतंकी हमले पर सिर्फ “मज़बूत शब्दों” में निंदा करता था।
- मोदी सरकार के नेतृत्व में आज भारत आतंक को घर में घुसकर मारता है और दुश्मनों को साफ संदेश दे चुका है कि हर जिहादी कदम की भारी कीमत चुकानी पड़ेगी।
🔱 मोदी सरकार की 5 प्रमुख रणनीतियाँ जो आतंकवाद पर कहर बनकर टूटीं:
1. 🔥 ज़ीरो टॉलरेंस पॉलिसी – शब्दों में नहीं, धरातल पर
कोई भी आतंकी हमला – सीधा जवाब।
- जैश–ए–मोहम्मद, हिजबुल, लश्कर–ए–तैयबा जैसे संगठनों को जड़ से खत्म करने के लिए लक्ष्यबद्ध ऑपरेशन।
l 2. 🎯 सर्जिकल स्ट्राइक्स और एयर स्ट्राइक्स — पहली बार भारत ने अपनी सीमाओं के पार भी कार्रवाई की
- 2016 उरी हमले के बाद – पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में घुसकर आतंकियों के अड्डे ध्वस्त किए।
- 2019 पुलवामा हमले के बाद – बालाकोट में एयरफोर्स की ऐतिहासिक बमबारी।
- 2025 ऑपरेशन सिंदूर – सबसे बड़ी मल्टी-लेयर सर्जिकल स्ट्राइक:
>पाकिस्तान के 30 से अधिक आतंकी ठिकानों पर हमला।
>सैकड़ों आतंकियों का सफाया, जिनमें कई मोस्ट वांटेड कमांडर शामिल।
>आतंक की फैक्ट्री का इन्फ्रास्ट्रक्चर तबाह।
3. 🛰️ इंटेलिजेंस और टेक्नोलॉजी ड्रिवन डिफेंस
- आतंकियों के कम्युनिकेशन नेटवर्क, ड्रोन सप्लाई चेन और डिजिटल फंडिंग को AI और डेटा एनालिटिक्स से ट्रैक किया गया।
- NIA, RAW, IB जैसे एजेंसियों को अधिक अधिकार, बेहतर संसाधन।
4. 🌍 वैश्विक स्तर पर आतंक समर्थकों की घेराबंदी
भारत ने साफ़ कहा:
- “जो आतंकवाद को समर्थन देगा, वह भारत का शत्रु होगा – चाहे वो देश हो, NGO हो या सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म।”
- टर्की, बांग्लादेश और पाकिस्तान पर आर्थिक प्रतिबंध, व्यापार रोकथाम, राजनयिक दबाव।
- UN, G20, BRICS, SCO जैसे मंचों पर आतंक के खिलाफ भारत की आवाज सबसे बुलंद।
5. 🛑 आतंक की फंडिंग रोकने के लिए कानून और नीति दोनों
- आतंकियों को धन या समर्थन देने वालों को भी आतंकी घोषित करने वाला विधेयक पारित।
- जाकिर नाईक जैसे कट्टरपंथियों को दुनिया भर में ब्लैकलिस्ट कराने के लिए प्रयास।
🧨 लेकिन कांग्रेस और विपक्ष क्या कर रहे हैं?
- जब देश के दुश्मनों को मारने की बात आती है,
वहीं विपक्ष देशद्रोहियों पर आँसू बहाने लगता है। - सोनिया गांधी और कांग्रेस आतंक विरोधी कानून के समय सदन से वॉकआउट कर जाते हैं।
- सर्जिकल स्ट्राइक के बाद “सबूत दिखाओ“ की मांग करते हैं।
- कश्मीर से धारा 370 हटाने पर अलगाववादियों की भाषा बोलते हैं।
- और चुनावों से पहले PFI जैसे संगठनों की चुपचाप मदद करते हैं।
क्या यह वही पार्टी है जो कभी “भारत माता की जय” का नारा देती थी?
या अब यह सिर्फ वोटबैंक और मुस्लिम appeasement की दुकान बनकर रह गई है?
🧠 अब निर्णय आपको करना है:
- क्या आप उनके साथ हैं जो सीमा पार जाकर दुश्मनों को मारते हैं
- या उनके साथ जो सदन छोड़कर भाग जाते हैं?
- भारत को आज रणनीतिक, सैन्य और कूटनीतिक नेतृत्व की सबसे ज़्यादा ज़रूरत है —
- और मोदी सरकार ने यह सिद्ध किया है कि वह हर स्तर पर सक्षम और निडर है।
🚩 आज का राष्ट्रधर्म — जागो, जोड़ो, लड़ो (लोकतांत्रिक रूप से)
- हर राष्ट्रभक्त नागरिक को चाहिए कि इस जानकारी को प्रचारित करें,
- सोशल मीडिया पर आवाज़ उठाएं,
- और चुनाव में ऐसे लोगों को हराएं जो भारत के दुश्मनों के साथ खड़े हैं।
🇮🇳जय भारत, वन्देमातरम 🇮
पुराने मेसेजेस के लिए कृपया हमारी वेबसाईट www.saveindia108.in पर जाएं।
➡Telegram Group: https://t.me/+T2nsHyG7NA83Yzdl
➡WhatsApp Group: https://chat.whatsapp.com/HxGZvlycYPlFvBO17O3eGW