🧨 दिल्ली को राख में बदलने की तैयारी — समय रहते साजिश नाकाम
- यह सिर्फ एक आतंकी हमला नहीं था।
- यह भारत की राजधानी दिल्ली को तबाह करने, बड़े पैमाने पर नागरिकों को मारने और पूरे देश में दंगे भड़काने की एक संगठित और बहुस्तरीय साजिश थी
- जिसका संचालन पाकिस्तानी हैंडलर, कट्टर मौलवी, ISIS से जुड़े डॉक्टर और व्हाइट कॉलर आतंकीकर रहे थे।
- सुरक्षा एजेंसियों की चौकसी के कारण यह खतरनाक साजिश अंतिम क्षणों में विफल हुई।
🕵️ सेक्शन 1: दिल्ली में बड़े धमाके की पहली योजना
• 2,900 किलो अमोनियम नाइट्रेट, डिटोनेटर और टाइमर बरामद हुए — इतना विस्फोटक दिल्ली में कई जगह एक साथ श्रृंखलाबद्ध धमाके करा सकता था।
• लाल किले के पास हुए धमाके में 8 मौतें और 24 घायल — इसी मॉड्यूल से जुड़े होने की संभावना।
• संदिग्ध कार में विस्फोटक सामग्री पहले से छुपी मिली।
गृहमंत्री अमित शाह ने तुरंत घायलों से मुलाकात की और जांच NIA तथा NSG को सौंपी।
🕌 सेक्शन 2: J&K पुलिस ने खोल दिया रैडिकल नेटवर्क का जाल
यह जांच श्रीनगर के नौगाम में लगे जैश-ए-मोहम्मद के पोस्टरों से शुरू हुई। धीरे-धीरे सामने आए कई चौंकाने वाले नाम:
🔹 मौलवी इरफान अहमद
- पाकिस्तानी आतंकी उमर बिन खत्ताब से सीधे संपर्क में।
- इसीने कई पढ़े–लिखे युवाओं को कट्टरपंथी बनाया।
🔹 डॉक्टर बने बारूद सप्लायर
• डॉ. मुझम्मिल शकील
• डॉ. आदिल अहमद राथर
• डॉ. शाहीन सईद
ये अपने “सम्मानित पेशे” की आड़ लेकर हथियार और विस्फोटक दिल्ली तक पहुंचाते थे।
🔹 फरीदाबाद में छापेमारी
• 20 किलो RDX
• टाइमर
• राइफलें, पिस्टल
• गोला–बारूद
दो साल से बारूद का भंडारण और दिल्ली पर बड़े हमले की तैयारी चल रही थी।
☣️ सेक्शन 3: गुजरात ATS ने रोका एक ‘केमिकल नरसंहार’
- यह दूसरी साजिश पहली से कहीं ज्यादा भयानक थी।
🔹 डॉ. मोहिउद्दीन अहमद सैयद
• 10 लीटर “रेज़िन” — साइनाइड से 600 गुना ज़हरीला, बिना गंध वाला।
• Glock और Beretta पिस्तौल
• ISIS–ISKP से कनेक्शन
• विदेशी हैंडलर अबू खदिजा से नियमित संपर्क
- योजना थी — इस ज़हर को फलों, सब्ज़ियों और मांस में मिलाकर हिंदू इलाकों में फैलाना।
- यह चुपचाप, हजारों लोगों को मार सकता था।
🚁 सेक्शन 4: पाकिस्तान से ड्रोन द्वारा हथियार सप्लाई
दो और संदिग्ध — आजाद सैफी और मोहम्मद सुहैल पकड़े गए। इन्होंने कबूला कि:
• हथियार राजस्थान सीमा के पास
• पाकिस्तानी ड्रोनसे गिराए जाते थे
• उन्होंने दिल्ली, लखनऊ और अहमदाबाद की रेकी कर ली थी
लक्ष्य साफ था: कैज़ुअल्टी अधिकतम + साम्प्रदायिक दंगे + चुनाव 2027 से पहले देश को अस्थिर करना।
🩺 सेक्शन 5: व्हाइट कॉलर टेररिज़्म — नई भयावह सच्चाई
आज के आतंकी सिर्फ AK-47 नहीं पकड़ते। वे छिपे होते हैं:
• डॉक्टरों के कोट में
• मौलवियों के रूप में
• NGO कार्यकर्ताओं में
• IT विशेषज्ञों में
• पढ़े-लिखे प्रोफेशनलों के रूप में
इनका मकसद:
• समाज में डर फैलाना
• देश की छवि खराब करना
• हिंदू समाज पर हमला
• भारत की स्थिरता को खत्म करना
⚠️ सेक्शन 6: कट्टरपंथी जाग चुके हैं… लेकिन हम अब भी सो रहे हैं
- यही सबसे कड़वी सच्चाई है।
✔ आतंकवादी लगातार योजना बना रहे हैं
✔ हथियार जमा कर रहे हैं
✔ विदेशी हैंडलरों से जुड़े हैं
✔ देश को अस्थिर करने की तैयारी कर रहे हैं
❗लेकिन हम — आम देशभक्त नागरिक — क्या कर रहे हैं?
• नौकरी
• व्यापार
• मनोरंजन
• पार्टियाँ
• छुट्टियाँ
• सोशल मीडिया
• “सब ठीक है” का भ्रम
- हम दिन–रात अपने जीवन में व्यस्त हैं,
- और सरकार अकेली लड़ रही है:
• आतंकियों से
• विदेशी एजेंसियों से
• कट्टरपंथियों से
• राजनीतिक तुष्टिकरण से
• फंडेड NGOs से
🚫 सरकार अकेले आंतरिक दुश्मनों से तेज़ी से कार्रवाई नहीं कर सकती।
इस लड़ाई में समुदाय का सहयोग अनिवार्य है।
🛡️ सेक्शन 7: अगर हम नहीं जागे — भारत का भविष्य पाकिस्तान और बांग्लादेश जैसा हो सकता है
इतिहास चेतावनी देता है:
जो समाज जागता नहीं, वह बर्बाद हो जाता है।
If we remain silent, divided, and inactive:
❌ पाकिस्तान जैसा पतन
❌ बांग्लादेश जैसा हिंदू-विहीन भविष्य
✔ हमें क्या करना होगा?
समुदाय को राष्ट्रवादी सरकार का सामाजिक और राजनीतिक समर्थन देना होगा।
• घरों में काम करने वालों की पहचान सत्यापित करें
• संदिग्ध गतिविधियों की सूचना दें
• समाज में सुरक्षा जागरूकता बढ़ाएँ
• झूठे नैरेटिव का मुकाबला करें
• एक–दूसरे का सहयोग करें
हिंदुओं को जाति, भाषा और राजनीति से ऊपर उठकर एकजुट होना होगा।
राष्ट्र, धर्म और समाज — तीनों की रक्षा हमारी जिम्मेदारी है।
🛑 सेक्शन 8: भारत की सुरक्षा = सरकार + सुरक्षाबल + नागरिक
सुरक्षा एजेंसियों ने दो बड़े हमले रोके हैं,
पर अगला प्रयास और बड़ा हो सकता है।
भारत की रक्षा तभी संभव है जब
सरकार + जनता + एजेंसियाँ
एक साथ खड़ी हों।
🕉️ यह लड़ाई सिर्फ आतंकवाद की नहीं — यह सभ्यता की लड़ाई है
हमारी सुरक्षा, हमारी संस्कृति, हमारा धर्म —
सब पर हमला हो रहा है।
अब सवाल यह है:
क्या हम — भारत के नागरिक — अपनी जिम्मेदारी निभाने के लिए तैयार हैं?
आइए जागें।
आइए एक हों।
आइए खड़े हों — धर्म और राष्ट्र की रक्षा के लिए।
🇮🇳 जय भारत, वंदे मातरम् 🇮🇳
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