मोदी विरोध के पीछे छिपा वैश्विक षड्यंत्र
अब भारत में एक ऐसा नैरेटिव खड़ा किया जा रहा है जो राष्ट्रीय नेतृत्व को कमजोर करने की कोशिश करता है। यह विरोध सिर्फ विचारधारा का नहीं, बल्कि सुनियोजित अंतरराष्ट्रीय हस्तक्षेप का हिस्सा है। मोदी विरोध धीरे-धीरे एक वैश्विक एजेंडे का चेहरा बनता जा रहा है, जिसका मकसद भारत की स्थिरता और आत्मनिर्भरता को चोट पहुँचाना है।
🛢️ ईरान 1951 — जब एक सच्चा राष्ट्रभक्त टकराया था वैश्विक शक्तियों से
- 1951 में ईरान के प्रधानमंत्री बने डॉ. मोहम्मद मुसद्दिक ने ब्रिटिश कंपनियों द्वारा तेल की लूट को चुनौती दी।
- उन्होंने ईरान के तेल संसाधनों का राष्ट्रीयकरण किया, जिससे ब्रिटेन और अमेरिका के व्यापारिक हितों को झटका लगा।
इसके जवाब में:
- CIA और MI6 ने मिलकर तख्तापलट की योजना बनाई,
- फर्जी प्रदर्शन, मीडिया प्रोपेगेंडा, धार्मिक उन्माद और संसद में खरीद-फरोख्त से,
- एक राष्ट्रवादी सरकार को गिरा दिया गया।
- अंततः ईरान फिर से विदेशी नियंत्रण में चला गया और मुसद्दिक को नजरबंद कर दिया गया।
🛑 क्या आज भारत में भी वही सब नहीं जा दोहराने का प्रयास तो नहीं किया जा रहा?
🇮🇳 भारत 2014–2024: जब मोदी ने वैश्विक षड्यंत्र को चुनौती दी
नरेंद्र मोदीएक ऐसे नेता के रूप में उभरे हैं जिन्होंने भारत को:
- आत्मनिर्भर बनाया,
- अंतरराष्ट्रीय मंच पर शक्तिशालीस्थान दिलाया,
- मुस्लिम तुष्टीकरण, वामपंथी एजेंडों और राजनीतिक भ्रष्टाचार को खुली चुनौती दी।
- इसके बदले में जो प्रतिक्रिया आई, वह हूबहू मुसद्दिक विरोधी षड्यंत्रों की पुनरावृत्ति थी:
🔺 मोदी के विरुद्ध पश्चिम का गुप्त एजेंडा:
- विपक्षी दलों को पश्चिमी NGO, संस्थाओं और सॉरस फंडेड लाबी का समर्थन।
- वामपंथी/टुकड़े-टुकड़े गैंग को खड़ा करना — JNU, शाहीन बाग, किसानों का आंदोलन इसका उदाहरण हैं।
- मीडिया प्रोपेगेंडा के ज़रिए मोदी विरोध को बढ़ावा दिया जा रहा है — BBC, NYT, Washington Post, The Wire, और The Print जैसे संस्थान लगातार झूठे नैरेटिव गढ़कर जनमानस को भ्रमित करने का कार्य कर रहे हैं।
- Fake Democracy Index, Freedom House Reports, Minority Oppression Reports आदि के माध्यम से भारत को बदनाम करना।
✅ परंतु यह 1951 नहीं है — यह भारत है, और नेता है नरेंद्र मोदी
🛡️ मोदी की टीम ने इन हमलों का जवाब कैसे दिया?
- झूठे नैरेटिव्स का जवाब काम से दिया, बहस से नहीं।
- बिना शोर के देश की सुरक्षा, आर्थिक सुधार, डिजिटल क्रांति, विकास, और आत्मनिर्भरता की दिशा में कार्य करते रहे।
- CAA, NRC, 370, Ram Mandir, Uniform Civil Codeजैसे ऐतिहासिक निर्णय लेकर भारत को हिन्दू जागृतिकी राह पर आगे बढ़ाया।
- वहीं विपक्ष लगातार “तानाशाही, लोकतंत्र खतरे में, प्रेस फ्रीडम खत्म” जैसे जुमले दोहराता रहा — लेकिन मोदी टीम कभी प्रतिक्रियावादी नहीं बनी।
🌍 वैश्विक राजनीति में भी मोदी की चतुराई नजर आती है:
🤝 मोदी के भरोसेमंद वैश्विक मित्र:
- रूस – रणनीतिक रक्षा साझेदारी
- जापान – इंफ्रास्ट्रक्चर और टेक्नोलॉजी में सहयोग
- इज़राइल – रक्षा, कृषि और साइबर टेक में समर्थन
- इन देशों ने Operation Sindoor जैसी घटनाओं में बिना शर्त भारत के साथ खड़े होने का प्रमाण दिया,
- जबकि अमेरिका और यूरोपीय देश छल-कपट और दबाव की राजनीति में उलझे रहे।
🔨 आज मोदी सरकार राष्ट्र-विरोधी तंत्र की रीढ़ तोड़ रही है:
- लिबरल गिरोह, लुटियन्स मीडिया, विदेशी फंडिंग पर पलने वाले NGO — सभी पर सरकार ने शिकंजा कस दिया है।
- विपक्ष बिखर रहा है — कांग्रेस, आम आदमी पार्टी जैसे दल घोटालों और आंतरिक कलह से टूट रहे हैं।
- जांच एजेंसियों को राजनीतिक हथियार नहीं, बल्कि राष्ट्र रक्षक के रूप में कार्यरत किया जा रहा है।
🧠 मोदी की रणनीति: शोर नहीं, परिणाम दो
- न कोई आत्मप्रचार, न बयानबाज़ी,
- बस सटीक योजना, मजबूत टीमवर्क और राष्ट्र के लिए समर्पण।
🎯 यही कारण है कि मोदी की टीम आज भी बिना डरे, बिना रुके ‘भारत को वैश्विक महाशक्ति’ बनाने की दिशा में आगे बढ़ रही है।
- क्या हमारी जनता बात को समझ पाएगी या विरोधी पार्टियों के शोर मैं भ्रमित हो जाएगी?
🚩 अब भारत के नागरिकों का कर्तव्य है — इतिहास से सीखें और गलतियाँ ना दोहराएँ।
- अगर हमने ईरान जैसी गलती की — तो इस बार हमें माफ़ करने वाला कोई नहीं होगा।
- मोदी को गिराने का षड्यंत्र हर स्तर पर रचा जा चुका है — लेकिन भारत आज जाग चुका है।
- हम न मुसद्दिक को भूल सकते हैं,
- न भारत को गुलामी में लौटने दे सकते हैं।
🇮🇳 मोदी नहीं झुकते — मोदी राष्ट्र के लिए जीते हैं।
- हम सब मिलकर भारत को विश्वगुरु बनाएंगे।
- यह भारत का समय है — इसे कोई रोक नहीं सकता।
🚩 यह संदेश हर देशभक्त तक पहुँचाना आपका धर्म है। जागो, जोड़ो, और आगे बढ़ो।
🇮🇳जय भारत, वन्देमातरम 🇮🇳
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